
दिल्ली सरकार ने महिलाओं के लिए बसों में मुफ्त यात्रा (Free Travel) की सुविधा में एक बड़ा बदलाव करते हुए इसे अब केवल दिल्ली की रहने वाली महिलाओं तक सीमित करने की घोषणा की है। मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने अपने पहले बजट भाषण में इस नई योजना का खुलासा किया, जिसमें पिंक टिकट को पूरी तरह से बंद कर स्मार्ट कार्ड जारी किए जाने की बात कही गई है। यह कदम सरकारी खर्चों को नियंत्रित करने, भ्रष्टाचार पर लगाम लगाने और गैर-Delhi Residents को इस योजना से बाहर रखने की मंशा से उठाया जा रहा है।
स्मार्ट कार्ड से होगा फ्री सफर, पिंक टिकट का युग समाप्त
नई योजना के तहत अब DTC और क्लस्टर स्कीम की बसों में महिलाओं को फ्री सफर के लिए पिंक टिकट की जरूरत नहीं होगी। इसकी जगह एक नया स्मार्ट कार्ड जारी किया जाएगा जो केवल दिल्ली की निवासी महिलाओं को वेरिफिकेशन के बाद मिलेगा। यह कार्ड मेट्रो के स्मार्ट कार्ड जैसा होगा, लेकिन उसमें कोई बैलेंस नहीं होगा और केवल यात्रा रिकॉर्ड करने के लिए इस्तेमाल होगा।
कैसे होगा वेरिफिकेशन और कौन-कौन होंगी पात्र?
महिलाओं की पात्रता जांचने के लिए दिल्ली सरकार एक वेरिफिकेशन ड्राइव शुरू करने जा रही है। इसमें महिलाओं को अपना आधार कार्ड, वोटर आईडी, राशन कार्ड या किसी अन्य सरकारी दस्तावेज के जरिए यह साबित करना होगा कि वे दिल्ली की निवासी हैं। जिन महिलाओं के दस्तावेजों में दिल्ली का पता होगा, उन्हें फ्री स्मार्ट कार्ड उपलब्ध कराया जाएगा। सरकार ने साफ किया है कि फिलहाल इस योजना में किसी इनकम क्राइटेरिया की जरूरत नहीं है, यानी सभी दिल्ली निवासी महिलाएं इसका लाभ उठा सकेंगी।
स्मार्ट कार्ड मिलेगा कैसे और कहां?
इस सवाल पर भी सरकार गंभीरता से विचार कर रही है। विकल्पों में यह भी शामिल है कि बस कंडक्टर ही वेरिफिकेशन का काम करें या फिर DTC के किसी सीनियर स्टाफ को इसके लिए तैनात किया जाए। चूंकि स्टाफ की कमी पहले से है, इसलिए ऑनलाइन वेरिफिकेशन सिस्टम पर भी काम किया जा रहा है। कार्ड मिलने के बाद महिलाएं इसे बसों में अपने साथ रखेंगी और सफर के दौरान बस कंडक्टर को टैप के लिए देंगी।
स्मार्ट कार्ड कैसे करेगा काम?
यह स्मार्ट कार्ड बस में सफर करते वक्त कंडक्टर के पास मौजूद डिजिटल मशीन पर टैप किया जाएगा। टैप करते ही महिला यात्री की यात्रा दर्ज हो जाएगी और कार्ड तुरंत लौटा दिया जाएगा। यह प्रक्रिया न केवल फ्री यात्रा को प्रमाणित करेगी, बल्कि डिजिटल ट्रैकिंग से फर्जीवाड़े की संभावना को भी खत्म करेगी। सरकार ने सभी बसों में डिजिटल टिकटिंग सिस्टम लागू करने की दिशा में कदम बढ़ा दिए हैं।
क्या कार्ड फ्री मिलेगा या देना होगा चार्ज?
फिलहाल यह स्पष्ट नहीं है कि स्मार्ट कार्ड मुफ्त में मिलेगा या इसके लिए कोई शुल्क देना होगा। हालांकि सूत्रों के मुताबिक संभावना है कि कार्ड फ्री में ही दिया जाएगा। यदि चार्ज लिया भी गया, तो वह नाममात्र—लगभग 20-25 रुपये—होगा। कार्ड को इस तरह डिजाइन किया जाएगा कि एक कार्ड का इस्तेमाल केवल एक महिला ही कर सके, जिससे दुरुपयोग की कोई गुंजाइश न रहे।
एनसीआर की महिलाओं का क्या होगा?
नई योजना दिल्ली की सीमाओं तक ही सीमित रहेगी। मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता और परिवहन मंत्री डॉ. पंकज गुप्ता ने स्पष्ट किया है कि यह योजना केवल दिल्ली की महिलाओं के लिए है। ऐसे में गुरुग्राम, नोएडा, फरीदाबाद, गाजियाबाद या NCR के अन्य क्षेत्रों की महिलाएं इस सुविधा से बाहर रहेंगी और उन्हें टिकट खरीदकर ही सफर करना पड़ेगा।
पुरानी व्यवस्था क्यों बदली जा रही है?
मुख्यमंत्री ने बजट भाषण में स्पष्ट किया कि पिछली सरकार की पिंक टिकट व्यवस्था में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार हो रहा था। सरकार को मिली शिकायतों में यह सामने आया कि जहां 100 महिलाओं ने टिकट लिया, वहां बिलिंग 400 टिकट की होती थी। अब इस प्रक्रिया को डिजिटल करके, स्मार्ट कार्ड के जरिए, सरकार यह सुनिश्चित करना चाहती है कि फ्री यात्रा केवल योग्य महिलाओं को ही मिले और भ्रष्टाचार पर पूरी तरह रोक लगे।